शुक्र का रत्न है हीरा,समृद्धि व प्रसिद्धि देता है
शुक्र का रत्न है हीरा,समृद्धि व प्रसिद्धि देता है हीरा शुक्र का मुख्य रत्न है। संस्कृत में इसे वज्रमणि, हिन्दी में हीरा व अंग्रेजी में इसे डायमंड कहते हैं। यह अकसर श्वेत रंग का होता है। हीरा अत्यंत चमकदार,चिकना, कठोर,पारदर्शी व किरणों से युक्त होता है। यदि धूप में हीरे को रख दिया जाए तो उसमें से इंद्रधनुष जैसी किरणें निकलती दिखाई देती हैं। तोतले बच्चे के मुंह में रखने से बच्चा ठीक से बोलना शुरु कर देता है। हीरा अंधेरे में रखने से जुगनू की तरह चमकने लगता है। हीरे में वशीकरण करने की विशेष शक्ति होती है। इसके पहनने से वंश वृद्धि, धन व सम्पत्ति की वृद्धि,स्त्री व संतान की सुख प्राप्ति, व स्वास्थ्य में लाभ होता है। वैवाहिक सुख में भी बढ़ौतरी करता है। हीरे की भस्म शहद-मलाई के साथ खाने से अनेक रोगों में लाभ प्राप्त होता है जैसे दौर्बल्यता, निपुंसकता, वायु प्रकोप,मंदाग्नि,वीर्य विकार, प्रमेह दोष, दिल के रोग, श्वेत प्रदर, विषैला व्रण, बच्चों में सूखा रोग,मानसिक कमजोरी आदि। शुक्ल पक्ष के शुक्रवार वाले दिन, शुक्र की होरा में, भरणी, पुष्य, पूर्वा फाल्गुनी, पूर्वाषाढ़ा नक्ष...